Acharyashree Message

आचार्य श्री महाश्रमणजी का आशीर्वाद


भारतीय भाषाओं में जैन साहित्य का बहुत महत्व है और यह ज्ञान के सबसे प्राचीन और अच्छी तरह से प्रलेखित निकायों में से एक है। जैन विश्व भारती की शैक्षणिक शाखा समन संस्कृति संके एक महान मिशन पर काम कर रही है - जैन धर्म की शिक्षाओं और साहित्यिक विरासत को दुनिया भर में फैलाना।

समण संस्कृति संकाय की पूरी टीम जैन धर्म की समृद्ध साहित्यिक परंपरा से जुड़ने और उसे अपनाने के लिए लोगों को प्रेरित करने के लिए गहराई से समर्पित और प्रतिबद्ध है। मेरा दृढ़ विश्वास है कि जो लोग ज्ञान प्राप्त करते हैं, उन्हें ज्ञानशाला शिक्षक बनकर, उपासक बनकर और अंततः जैनोलॉजी के विशेषज्ञ बनकर अपनी यात्रा जारी रखनी चाहिए - इस प्रकार वैश्विक स्तर पर जैन धर्म की सेवा करनी चाहिए। टीम का हर सदस्य पूरे दिल से योगदान दे और साथ ही रास्ते में अमूल्य अनुभव भी प्राप्त करे।

मैं आध्यात्मिक अंतर्दृष्टि और जीवन की सार्थक समझ से भरी यात्रा पर हर जैन विद्या के आकांक्षी को अपना हार्दिक आशीर्वाद देता हूँ।

आचार्य श्री महाश्रमण